विदिशा,
वैसे तो जिला चिकित्सालय हो या तहसील चिकित्सालय सभी चर्चा में रहते हैं क्योंकि जिले का कोई भी हास्पिटल हो वहां प्रायवेट प्रकटिस हमेशा होती आई है आज तक कोई भी जनप्रतिनिधि की हिम्मत नहीं हुई बंद कराने की चाहे वह मुख्यमंत्री ही क्यों न हो एक कान से सुनते हैं दूसरे से बाहर जनता पिसती है ऐसा ही मामला अभी का जानकारी में आया
जिला अस्पताल में हंगामा, सरकारी डाक्टर द्रारा निजी क्लिनिक मे जांच कर फीस लेकर जिलाअस्पताल मे भर्ती करने और स्टाफ से उन मरीजो की अतिरिक्त देखभाल करने के मामले मे नर्सिग स्टाफ और डाक्टर की वहस, डाक्टर के इशारे पर मरीज ने लगाई सीएम हेल्पलाइन की शिकायत, नर्सिग स्टाफ ने किया काम बंद
तीसरी मंजिल पर डॉक्टर के केबिन बने हुए हैं और डॉक्टर के अलग-अलग मरीज है फिर हुआ
अस्पताल में नसों और डॉक्टर के बीच विवाद काम बंद तक पहुंच गया,
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